दुपहिया सवार को नायलॉन मांजा ले जाते  पुलिस ने किया गिरफ्तार

नागपुर: प्रतिबंधित नायलॉन मांजा के साथ आरोपी गिरफ्तार, 2.30 लाख का माल जब्त पुलिस ने प्रतिबंधित नायलॉन मांजा ले जाते हुए एक व्यक्ति को गिरफ्तार कर बड़ी मात्रा में माल जब्त किया है। तहसील पुलिस की कार्रवाई में आरोपी मोहम्मद इजाज मोहम्मद इरशाद (36), जो यशोधरा नगर के पीली नदी बुद्ध विहार के पास का निवासी है, को पकड़ा गया।

**नागपुर: प्रतिबंधित नायलॉन मांजा के साथ आरोपी गिरफ्तार, 2.30 लाख का माल जब्त**  

नागपुर शहर में पुलिस ने प्रतिबंधित नायलॉन मांजा ले जाते हुए एक व्यक्ति को गिरफ्तार कर बड़ी मात्रा में माल जब्त किया है। तहसील पुलिस की कार्रवाई में आरोपी मोहम्मद इजाज मोहम्मद इरशाद (36), जो यशोधरा नगर के पीली नदी बुद्ध विहार के पास का निवासी है, को पकड़ा गया।  

### **गिरफ्तारी कैसे हुई?**  
पुलिस सूत्रों के अनुसार, आरोपी एक दुपहिया वाहन पर प्रतिबंधित नायलॉन मांजा लेकर जा रहा था। पुलिस की पेट्रोलिंग टीम ने उसे संदिग्ध गतिविधियों के चलते रोका। तलाशी के दौरान उसके पास से 110 चक्री (नायलॉन मांजा की गत्तियां) बरामद हुईं।  

जब्त सामान में नायलॉन मांजा की कीमत 1.65 लाख रुपये आंकी गई है, जबकि आरोपी के वाहन की कीमत 65,000 रुपये बताई जा रही है। कुल मिलाकर पुलिस ने 2.30 लाख रुपये का माल जब्त किया है।  

### **मांजा पर प्रतिबंध क्यों?**  
नायलॉन मांजा, जिसे 'चीनी मांजा' भी कहा जाता है, पर्यावरण और लोगों के लिए गंभीर खतरा पैदा करता है। इसका उपयोग पतंग उड़ाने के लिए किया जाता है, लेकिन यह बेहद धारदार होता है, जिससे पक्षियों, जानवरों और यहां तक कि इंसानों को चोट लगने का खतरा रहता है। इसके अलावा, यह पर्यावरण के लिए भी हानिकारक है क्योंकि यह जैविक रूप से नष्ट नहीं होता।  

भारत सरकार और विभिन्न राज्य सरकारों ने नायलॉन मांजा के उत्पादन, बिक्री और उपयोग पर प्रतिबंध लगाया है। इसके बावजूद, त्योहारों के दौरान इसका अवैध व्यापार जोर पकड़ लेता है।  

### **पुलिस का बयान**  
तहसील पुलिस ने आरोपी के खिलाफ विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया है। पुलिस का कहना है कि आरोपी नायलॉन मांजा को बेचने की योजना बना रहा था। मामले की जांच की जा रही है ताकि पता लगाया जा सके कि वह यह माल कहां से लेकर आया और इसे कहां ले जा रहा था।  

### **पुलिस की सतर्कता अभियान**  
नायलॉन मांजा पर प्रतिबंध लागू करवाने के लिए नागपुर पुलिस लगातार अभियान चला रही है। हर साल मकर संक्रांति और अन्य पतंगबाजी के त्योहारों के दौरान इस तरह की घटनाओं में बढ़ोतरी देखी जाती है। पुलिस ने नागरिकों से अपील की है कि वे प्रतिबंधित सामग्री के उपयोग से बचें और इस तरह की गतिविधियों की सूचना तुरंत पुलिस को दें।  

### **सख्त कार्रवाई की आवश्यकता**  
इस घटना से यह स्पष्ट होता है कि प्रतिबंध के बावजूद अवैध नायलॉन मांजा का व्यापार पूरी तरह खत्म नहीं हुआ है। पर्यावरणविदों और सामाजिक संगठनों ने सरकार और प्रशासन से इस पर सख्ती बरतने और दोषियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई करने की मांग की है।  

### **आगे की जांच जारी**  
पुलिस अब यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि आरोपी नायलॉन मांजा का यह स्टॉक कहां से लेकर आया था और इसका नेटवर्क कितना व्यापक है। साथ ही, इस अवैध व्यापार में शामिल अन्य लोगों की पहचान करने की भी कोशिश की जा रही है।  

### **नागरिकों की जिम्मेदारी**  
नागरिकों की भी जिम्मेदारी है कि वे इस तरह की गतिविधियों का समर्थन न करें। जागरूकता फैलाने और पर्यावरण की रक्षा करने के लिए सभी को इस दिशा में काम करना होगा। प्रशासन ने चेतावनी दी है कि प्रतिबंधित सामग्री का उपयोग करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
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गिरफ्तारी कैसे हुई?

पुलिस सूत्रों के अनुसार, आरोपी एक दुपहिया वाहन पर प्रतिबंधित नायलॉन मांजा लेकर जा रहा था। पुलिस की पेट्रोलिंग टीम ने उसे संदिग्ध गतिविधियों के चलते रोका। तलाशी के दौरान उसके पास से 110 चक्री (नायलॉन मांजा की गत्तियां) बरामद हुईं।

जब्त सामान में नायलॉन मांजा की कीमत 1.65 लाख रुपये आंकी गई है, जबकि आरोपी के वाहन की कीमत 65,000 रुपये बताई जा रही है। कुल मिलाकर पुलिस ने 2.30 लाख रुपये का माल जब्त किया है।

मांजा पर प्रतिबंध क्यों?

नायलॉन मांजा, जिसे ‘चीनी मांजा’ भी कहा जाता है, पर्यावरण और लोगों के लिए गंभीर खतरा पैदा करता है। इसका उपयोग पतंग उड़ाने के लिए किया जाता है, लेकिन यह बेहद धारदार होता है, जिससे पक्षियों, जानवरों और यहां तक कि इंसानों को चोट लगने का खतरा रहता है। इसके अलावा, यह पर्यावरण के लिए भी हानिकारक है क्योंकि यह जैविक रूप से नष्ट नहीं होता।

भारत सरकार और विभिन्न राज्य सरकारों ने नायलॉन मांजा के उत्पादन, बिक्री और उपयोग पर प्रतिबंध लगाया है। इसके बावजूद, त्योहारों के दौरान इसका अवैध व्यापार जोर पकड़ लेता है।

पुलिस का बयान

तहसील पुलिस ने आरोपी के खिलाफ विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया है। पुलिस का कहना है कि आरोपी नायलॉन मांजा को बेचने की योजना बना रहा था। मामले की जांच की जा रही है ताकि पता लगाया जा सके कि वह यह माल कहां से लेकर आया और इसे कहां ले जा रहा था।

पुलिस की सतर्कता अभियान

नायलॉन मांजा पर प्रतिबंध लागू करवाने के लिए नागपुर पुलिस लगातार अभियान चला रही है। हर साल मकर संक्रांति और अन्य पतंगबाजी के त्योहारों के दौरान इस तरह की घटनाओं में बढ़ोतरी देखी जाती है। पुलिस ने नागरिकों से अपील की है कि वे प्रतिबंधित सामग्री के उपयोग से बचें और इस तरह की गतिविधियों की सूचना तुरंत पुलिस को दें।

सख्त कार्रवाई की आवश्यकता

इस घटना से यह स्पष्ट होता है कि प्रतिबंध के बावजूद अवैध नायलॉन मांजा का व्यापार पूरी तरह खत्म नहीं हुआ है। पर्यावरणविदों और सामाजिक संगठनों ने सरकार और प्रशासन से इस पर सख्ती बरतने और दोषियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई करने की मांग की है।

आगे की जांच जारी

पुलिस अब यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि आरोपी नायलॉन मांजा का यह स्टॉक कहां से लेकर आया था और इसका नेटवर्क कितना व्यापक है। साथ ही, इस अवैध व्यापार में शामिल अन्य लोगों की पहचान करने की भी कोशिश की जा रही है।

नागरिकों की जिम्मेदारी

नागरिकों की भी जिम्मेदारी है कि वे इस तरह की गतिविधियों का समर्थन न करें। जागरूकता फैलाने और पर्यावरण की रक्षा करने के लिए सभी को इस दिशा में काम करना होगा। प्रशासन ने चेतावनी दी है कि प्रतिबंधित सामग्री का उपयोग करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

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