-एवरेस्ट वर्ल्ड रेकॉर्ड (काठमांडू, नेपाल) द्वारा सम्मानित
-नागपुर महानगरपालिका द्वारा सम्मानित
नागपुर।(नामेस)।
छत्रपति श्री शिवाजी महाराज द्वारा संस्थापित हिंदवी स्वराज्य के प्रशासन तथा रक्षा के लिए अत्यंत परिश्रम से कई किलों-दुर्गों का निर्माण किया गया था। महाराष्ट्र में इस प्रकार के तकरीबन 350 से अधिक दुर्ग निर्मित किए गए हैं। उनमें से कई किले अत्यंत दुर्गम स्थलों पर, पर्वत शिखर पर, तो कई जमीन पर है।
महाराष्ट्र में ऐसी परंपरा रही है कि दीपावली पर्व पर हर घर के आंगन में दुर्ग की प्रतिकृति निर्मित कर उसे दीपक और खिलौनों आदि से सुशोभित किया जाता था। यह सांस्कृतिक तथा कालात्मक परंपरा आधुनिक काल में अनेक कारणों से समय के साथ लुप्त हो रही थी। इस परंपरा को फिर से जीवित करने की दृष्टि से संपूर्ण नागपुर महानगरी में शिव वैभव किला स्पर्धा का आयोजन 1986 साल से नियमित रूप से प्रति वर्ष किया जा रहा है।
इस स्पर्धा में सभी आयु के बालक-बालिकाएं, युवक-युवतियां, महिला-पुरुष, वरिष्ठ नागरिक, अपने निवास स्थान, सामाजिक तथा शैक्षणिक संस्था के प्रांगण में विभिन्न वस्तुओं के माध्यम से किला-दुर्ग की प्रतिकृतियां बनाते हैं।
यह प्रतियोगिता निम्नलिखित श्रेणियों में विभाजित है:
(अ) ‘शिव किला गट’: जिन किलों का अस्तित्व है, ऐसे किलों का ऐतिहासिक तथा वास्तुशास्त्र के दृष्टिकोण से अध्ययन कर निर्मित किला प्रतिकृति.
(ब) ‘काल्पनिक किला गट’: अपनी कल्पना के अनुसार बनाई गई प्रतिकृतियां.
(क) ‘वैदर्भीय किला गट’ : विदर्भ में जिन किलों का अस्तित्व है, उन किलों की प्रतिकृतियां। प्रत्येक विभाग में प्रथम, द्वितीय, तृतीय और सांत्वना मिलाकर आठ नगद पुरस्कार, महिला स्पर्धक तथा गैर मराठी स्पर्धकों को विशेष पुरस्कार दिया जाएगा। इसके अलावा सभी प्रतिभागियों को प्रमाणपत्र वितरित किए जाएंगे।
दुर्ग की प्रतिकृति का परीक्षण रविवार 7 नवंबर 2021 (पश्चिम नागपुर) तथा सोमवार 8 नवंबर 2021 (पूर्व नागपुर) को सुबह 10 बजे से महानगरी में आयोजित होगा। प्रवेश पत्रिका स्वीकार करने की अंतिम तारीख रविवार 30 अक्तूबर 2021 है।