जब शरद पवार राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष पद से इस्तीफा देने का ऐलान कर रहे थे, तब उनके दाहिनी तरफ अजित पवार बैठे थे. राजनीतिक गलियारों में एक धड़ा ऐसा है, जो इस इस्तीफे और एनसीपी के आगे के पथ के लिए अजित पवार को सूत्रधार मानते हैं. अजित पवार ने शरद के इस्तीफे के बाद इस तरीके के संकेत भी दे दिए हैं.
अजित पवार का कहना है कि शरद पवार का मार्गदर्शन एनसीपी को मिलता रहेगा. हालांकि दबी जुबान में अजित बोल गए कि शरद पवार अध्यक्ष रहें या न रहें, पार्टी लगातार काम करती रहेगी. साथ ही उन्होंने रोते-बिलखते कार्यकर्ताओं को भी कह दिया कि शरद पवार अपना फैसला वापस नहीं लेंगे.
एनसीपी का मतलब ही शरद पवार- अजित पवार
वहीं एनसीपी नेता और महाराष्ट्र के पूर्व उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने यह भी साफ-साफ कह दिया कि एनसीपी का मतलब ही शरद पवार से है और वो हम सब व सभी एनसीपी कार्यकर्ता पवार साहब का साथ कभी नहीं छोड़ेंगे. एनसीपी नेता अजित पवार ने कार्यकर्ताओं से यहां तक कहा कि शरद पवार के इस्तीफे के बाद भी हम सभी मिलकर काम करेंगे. शरद पवार ने जो कमेटी गठित की है, वो आगे के फैसले करेगी. कमेटी जो भी फैसला करेगी, वो हमें मंजूर होगा.
सुप्रिया सुले को कुछ न बोलने की दी गई सलाह
वहीं शरद पवार के इस्तीफे के बाद एनसीपी के नेता उनसे अध्यक्ष पद पर बने रहने की मांग कर रहे हैं. नेताओं का कहना है कि शरद पवार अपने फैसले पर पुनर्विचार करें. वहीं पूर्व उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने शरद पवार की बेटी व लोकसभा सांसद सुप्रिया सुले को कुछ भी न बोलने की सलाह दी. अजित पवार ने कहा कि मैं सुप्रिया सुले का बड़ा भाई हूं. इसलिए मैं उन्हें यह सलाह दे रहा हूं. दरअसल, एनसीपी कार्यकर्ता मांग कर रहे हैं कि सुप्रिया सुले को शरद पवार से बात करनी चाहिए.
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इस्तीफे पर पुनर्विचार करें शरद पवार- एनसीपी नेता
वहीं जब शरद पवार ने इस्तीफा दिया तो उनकी पत्नी रो पड़ीं. साथ ही एनसीपी के कार्यकर्ता भी रोने लगे. एनसीपी के वरिष्ठ नेता छगन भुजबल, जितेंद्र आव्हाड और दिलीप वलसे पाटिल सहित अन्य नेताओं ने कहा कि हम इस इस्तीफा से सहमत नहीं हैं. शरद पवार को तत्काल अपने इस्तीफा वापस ले लेना चाहिए. उन उनके मार्गदर्शन में काम करना चाहते हैं. पार्टी का कोई भी कार्यकर्ता इस इस्तीफे को नहीं मानेगा. हम शरद पवार से मांग करते हैं, वह तुरंत इस इस्तीफे पर पुनर्विचार करें.