रविवार को आर्गेनाइजेशन फॉर राइट्स ऑफ़ HUMAN की और से कविवर्य सुरेश भट्ट सभागृह में वर्षगाठ के अवसर पर राज्य स्तरीय सभा का आयोजन किया गया। इस दौरान अनेक गणमान्य लोग उपस्तिथ थे। अनुसूचित जनजाति के जाति प्रमाण पत्र को कर्मचारी द्वारा धोखाधड़ी और धोखे के माध्यम से अमान्य घोषित किया गया था। सरकार ने ऐसे कर्मचारियों को आग लगाने की धमकी दी थी। कुछ मामलों में, उच्च न्यायालय द्वारा इस तरह के कदाचार को अवैध करार दिए जाने के बाद, सरकार बिना किसी कारण के इसे उच्चतम न्यायालय में चुनौती दे रही थी। सुप्रीम कोर्ट ने सरकार के इस झूठ और धोखे को खारिज नहीं किया, बल्कि अनुसूचित जनजाति के कर्मचारियों पर ‘घटना के बारे में झूठ बोलने’ का आरोप लगाया। इन सारी चीजों को आर्गेनाइजेशन फॉर राइट्स ऑफ़ HUMAN ने समझा और अब वे उन लोगो के हित के लिए कार्यरत है। ऐसी जानकारी इस दौरान दि गई।