नई दिल्ली। (एजेंसी)।
कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) के सेंट्रल बोर्ड आॅफ ट्रस्टीज की बोर्ड बैठक में शनिवार को बड़ा ऐलान किया गया है. बैठक में फैसला हुआ कि प्रोविडेंट फंड (पीएफ) अकाउंट के सेंट्रलाइज आईटी सिस्टम को मंजूरी दी जाएगी. इसका अर्थ हुआ कि कोई कर्मचारी नौकरी बदलता है या एक कंपनी से दूसरी कंपनी में जॉइन करता है तो पीएफ खाता ट्रांसफर करने का झंझट नहीं रहेगा. यह काम अपने आप हो जाएगा. सेंट्रलाइज सिस्टम की मदद से कर्मचारी का खाता मर्ज होगा. अभी तक यही नियम है कि जब कोई कर्मचारी एक कंपनी छोड़कर दूसरी कंपनी में जाता है तो वह या तो पीएफ का पैसा निकाल लेता है या फिर दूसरी कंपनी में ट्रांसफर कराता है. अभी तक खाता ट्रांसफर कराने का यह काम खुद करना होता है.
अभी क्या है नियम
इसके लिए पुरानी और नई कंपनी में कुछ कागजी औपचारिकताएं होती हैं, जिन्हें पूरा करना होता है. इन कागजी कार्यवाही के चलते कई लोग पुरानी कंपनी में पीएफ का पैसा छोड़ देते हैं. नई कंपनी में पहले के यूएएन पर ही दूसरा पीएफ खाता बन जाता है. लेकिन इस पीएफ खाते में पूरा बैलेंस नहीं दिखता, क्योंकि कर्मचारी पुराने खाते को नए से मर्ज नहीं कराए होते हैं. अब यह झंझट खत्म हो जाएगा.
क्या होगा बदलाव
दरअसल, सेंट्रलाइज सिस्टम पीएफ के खाताधारकों के अलग-अलग अकाउंट को मर्ज कर एक अकाउंट बनाएगा. इससे खातों को मर्ज करने का झंझट खत्म हो जाएगा और कर्मचारी कई तरह की कागजी कार्यवाही से बच सकेंगे. केंद्रीय मंत्री भूपेंद्र यादव की अध्यक्षता में हुई ईपीएफओ की 229वीं बोर्ड बैठक में यह फैसला लिया गया है.