शिवाजी महाराज पर की गई टिप्पणी का विरोध

मुंबई. महाराष्ट्र विधानसभा का बजट सत्र विपक्ष के भारी हंगामे के साथ गुरुवार को शुरू हुआ. इस दौरान मलिक के इस्तीफे की मांग को लेकर विधान भवन की सीढ़ियों पर बैठ भाजपा विधायकों ने सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की. वे लगातार हाथ में बैनर लेकर सरकार पर दाऊद इब्राहिम को बचाने का आरोप लगा रहे थे. बजट सत्र से पहले राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी का अभिभाषण चल रहा था. इस दौरान सत्ता पक्ष से जुड़े कुछ विधायक राज्यपाल के खिलाफ नारेबाजी करने लगे. इससे नाराज राज्यपाल ने अपना भाषण बीच में ही छोड़ दिया और विधानसभा से बाहर निकल गए. बता दें कि राज्यपाल ने कुछ दिन पहले छत्रपति शिवाजी महाराज को लेकर विवादास्पद टिप्पणी की थी. उन्होंने समर्थ रामदास को छत्रपति शिवाजी महाराज का गुरु बताया था, इसी बात से सत्ताधारी पक्ष से जुड़े नेता लगातार उनके खिलाफ मोर्चा खोले हुए हैं. इसी कड़ी में गुरुवार को सत्र जैसे ही शुरू हुआ बीड से एनसीपी विधायक संजय दौंड मुख्य द्वार पर पहुंचे और शीर्षासन कर राज्यपाल का विरोध किया. इस प्रदर्शन के बाद दौंड ने कहा, ‘राज्यपाल ने राज्य और राष्ट्रगान का अपमान किया है. मैंने शीर्षासन कर उनका विरोध किया है.’ इस दौरान उन्होंने यह भी कहा कि गठबंधन सरकार ठीक से काम कर रही है. सत्र के दौरान मलिक के इस्तीफे की मांग को लेकर भाजपा ने आक्रामक रुख दिखाया. राज्यपाल के सदन छोड़ने के बाद वे लगातार एनसीपी, उद्धव सरकार और सीएम के खिलाफ नारेबाजी करने लगे. लगातार हंगामे को देख कार्यवाहक अध्यक्ष ने सदन की कार्रवाई को शुक्रवार सुबह 11 बजे तक के लिए स्थगित कर दिया.

मलिक से नहीं लिया जा रहा इस्तीफा: फडणवीस
विधानसभा के बाहर मीडिया से बात करते हुए पूर्व सीएम देवेंद्र फडणवीस ने कहा,’महाराष्ट्र में यह पहली बार हो रहा है कि एक मंत्री (नवाब मलिक) जेल में है और उसका इस्तीफा नहीं लिया जा रहा है. यह अप्रत्याशित है. उन्हें एक छोटे से मामले के लिए जेल नहीं भेजा गया है, उन पर दाऊद इब्राहिम के परिवार से डीलिंग का आरोप है. सरकार उनका इस्तीफा क्यों नहीं लेना चाहती? यह ‘दाऊद समर्पित’, ‘दाऊद शरण’ वाली सरकार है.

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