कामठी।
भटके-विमुक्त हक्क परिषद कार्यकर्ताओं का एक ऐसा संगठन है जो महाराष्ट्र में सभी भटके-विमुक्त समुदाय की बुनियादी समस्याओं को हल करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। पिछले पांच वर्षों से धनंजय ओंबासे के नेतृत्व में अधिकार परिषद के आंदोलन, रैलियों और सरकारी बैठकों के माध्यम से खानाबदोश विमुक्तों के मुद्दों के लिए दिन-रात लड़ रही है। इस संघर्ष के दौरान अधिकार परिषद को अन्य समान विचारधारा वाले सामाजिक संगठनों और सामाजिक कार्यकर्ताओं से भी विशेष समर्थन मिला। ज्ञात हो कि पंद्रह बुनियादी मांगों पर गहराई से चर्चा की गई। लेकिन बहुजन मंत्रालय द्वारा आगे कोई कार्रवाई नहीं की गई। उसके बाद तत्कालीन मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने रैनपाड़ा नरसंहार के पीड़ितों के परिवारों को प्रति परिवार 10 लाख रुपये की वित्तीय सहायता प्रदान करने में सफल रही। लेकिन अन्य मांगें लंबित रहीं। उसके बाद इन मांगों के लिए धुले, जलगांव, नंदुरबार, अहमदनगर, नासिक आदि स्थानों में आंदोलन किया गया था। लेकिन तत्कालीन सरकार ने इस मामले को गंभीरता से नहीं लिया। लेकिन अधिकार परिषद ने अपना संघर्ष जारी रखा। फिर से 16 जुलाई, 2021 को मंत्रालय में अधिकार परिषद के प्रमुख पदाधिकारियों और समान विचारधारा वाले अन्य संगठनों के पदाधिकारियों के साथ एक सरकारी बैठक हुई। बैठक में 9 विभिन्न विभागों के सचिवों और निदेशकों ने भाग लिया। इस सरकारी बैठक में चौदह मुद्दों पर गहराई से चर्चा हुई और बहुजन कल्याण मंत्री विजय वडेट्टीवार ने अधिकार परिषद के पदाधिकारियों को आश्वासन दिया कि इन सभी मुद्दों को सुलझाना चाहता हूं। यहां तक कि अगर हमें हर महीने एक बैठक भी करनी पड़े, तो हम इसे लेंगे और सभी मुद्दों को हल करेंगे। इस बैठक में हक्का परिषद अध्यक्ष प्रा. धनंजय ओंबासे, महासचिव प्रा. सखाराम धूमल, प्रदेश मुख्य आयोजक पुरुषोत्तम काले, प्रदेश प्रवक्ता एवं प्रचार प्रमुख बालासाहेब धूमल, शिक्षक एवं कर्मचारी गठबंधन के अध्यक्ष कृष्णा जाधव, उद्योग गठबंधन अध्यक्ष नंदकुमार गोसावी, युवा प्रदेश अध्यक्ष प्रतीक गोसावी, राज्य संयोजक साहेबराव गोसावी, सुपादुभाऊ खेड़कर, विदर्भ मंडल अध्यक्ष महेश गिरी, नागपुर सचिव विजय अगरकर और महाराष्ट्र जोशी समाज संगठन के अध्यक्ष दिलीप परदेशी सहित अन्य समान विचारधारा वाले सामाजिक संगठनों के पदाधिकारी एवं कार्यकर्ता उपस्थित थे।
सभी आन्दोलनों, रैलियों, सरकारी बैठकों के समापन के रूप में, 9 सितंबर 2021 को मंत्री विजय वड़ेट्टीवार द्वारा बहुजन मंत्रालय से शासनादेश हटाने तथा अवर सचिव माली को सर्वेक्षण के लिए नोडल अधिकारी नियुक्त करने तथा सर्वेक्षण प्रक्रिया में पहला कदम उठाए जाने पर परिषद की ओर से विजय वडेट्टीवार का आभार व्यक्त किया गया।