के पूर्व गृह मंत्री अनिल देशमुख ने बुधवार को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) को बताया कि मुंबई के पूर्व पुलिस आयुक्त परमबीर सिंह मनसुख हिरेन की मौत और एंटीलिया बम मामले का मास्टमाइंड है. उन्होंने ये भी कहा कि परमबीर सिंह ने झूठी जानकारी दी और तथ्यों को छुपाया है. ईडी को दिए अपने बयान में देशमुख ने कहा कि जब परमबीर सिंह को मामले की जानकारी लेने के लिए विधानभवन और सीएम आवास पर बुलाया गया तो उन्होंने सही जानकारी नहीं दी. इसके बाद सीएम उद्धव ठाकरे और उन्होंने तत्कालीन गृह मंत्री के रूप में सिंह को पद से हटाने और उन्हें होमगार्ड के महानिदेशक के रूप में प्रतिनियुक्त करने का फैसला किया.
अनिल देशमुख ने कहा कि परमबीर सिंह द्वारा उन पर लगाए गए आरोप निराधआर औऱ झूठे हैं. उन्होंने कहा कि परमबीर सिंह और सचिन वाजे बहुत करीब थे. देशमुख ने ईडी को बताया कि सिंह जबरन वसूली का काम सचिन वाजे को देता था. महाराष्ट्र के पू्र्व पुलिस आयुक्त परमबीर सिंह ने अनिल देशमुख पर बर्खास्त सहायक निरीक्षक सचिन वाजे को हर महीने मुंबई के होटलों और बार से 100 करोड़ रुपए वसूलने के लिए कहने का आरोप लगाया था.ईडी ने देशमुख और अन्य के खिलाफ सीबीआई द्वारा उनके खिलाफ दायर भ्रष्टाचार के मामले के आधार पर केस दर्ज किया था. इस बीच एनआईए ने मुंबई में रिलायंस इंडस्ट्रीड के चेयरमैन मुकेश अंबानी के घर एंटीलिया के पास खड़ी एक कार से विस्फोटकों की बरामदगी की जांच के सिलसिले में मार्च 2021 में बर्खास्त मुंबई पुलिस अधिकारी सचिन वाजे को गिरफ्तार किया था. वाजे पर एंटिलिया के बाहर विस्फोटक सामग्री वाले वाहन के मालिक मनसुख हिरेन की हत्या की भी आरोप लगाया गया था. हिरेन 5 मार्च को ठाणे में मृत पाया था.