नागपुर। (नामेस)।
पुणे में संपन्न गुप्त-वार्ता प्रशिक्षण शिविर में हिस्सा लेकर लौटे नागपुर के 12 पुलिसकर्मियों की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आई है. 12 पुलिस-कर्मियों में एक महिला भी शामिल है. इससे पुलिस महकमे में खलबली मच गई है. नागपुर मनपा प्रशासन ने भी इस मामले में चिंता जताई है. सभी संक्रमित कर्मचारियों का वैक्सीनेशन हो चुका है.
पुणे में खुफिया विभाग के पुलिस कर्मचारियों के लिए 30 अगस्त से 9 सितंबर तक एक प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया गया था.
29 अगस्त को नागपुर जिले के 33 पुलिस कर्मी पुणे गए थे और प्रशिक्षण खत्म कर 10 सितंबर को नागपुर लौटे थे. इनमें से कुछ लोग शनिवार से ही अस्वस्थ महसूस कर रहे थे. गणेशोत्सव के चलते अवकाश देना संभव नहीं था, जिससे सभी को पुलिस अस्पताल के डॉक्टरों से संपर्क करने को कहा गया. शनिवार को कुछ पुलिस-कर्मियों की आरटी-पीसीआर टेस्ट करवाई गई. पुलिस-कर्मियों के कोरोना-संक्रमित पाए जाने के बाद अस्पताल के डॉक्टर संदीप शिंदे ने पुलिस आयुक्त को यह जानकारी दी. इसके बाद सभी 33 पुलिस-कर्मियों की कोरोना-टेस्ट की गई, जिसमें 12 पुलिस-कर्मी संक्रमित पाए गए. पहले शिविर में गए 20 कर्मचारियों की जांच कराई गई थी, जिसमें से 10 कर्मी कोरोना-संक्रमित पाए गए थे. बाकी 13 पुलिस-कर्मियों की जांच में एक और कर्मचारी पॉजिटिव पाया गया. महानगरपालिका की मदद से सभी का इलाज जारी है.
शिविर में हिस्सा लेने गए अनेक पुलिस-कर्मियों के कोरोना-संक्रमित पाए जाने के बाद न सिर्फ पुलिस महकमे, बल्कि मनपा प्रशासन की भी चिंता बढ़ गई है.
फ्रंटलाइन वर्कर के नाते पुलिस-कर्मियों का कोरोना वैक्सीनेशन बहुत पहले ही पूरा हो चुका है. किसी बीमारी से ग्रस्त होने के कारण केवल एक पुलिस-कर्मी ने कोरोना की वैक्सीन नहीं ली थी. बाकी सभी का वैक्सीनेशन होने के बाद भी वे कोरोना-संक्रमित पाए गए हैं. चिंता का मुख्य कारण यही है.
चूंकि शिविर में नागपुर शहर सहित जिले के अनेक पुलिस-कर्मी सम्मिलित हुए थे, तो कहीं यह नागपुर जिले में कोरोना-विस्फोट का बायस तो नहीं बनेगा? पुलिस और मनपा प्रशासन इसी बात को लेकर भय और चिंता में है.
सभी 12 पुलिस-कर्मियों को क्वारन्टाइन किया गया है, जबकि बाकी को होम आइसोलेशन में रखा गया है. उनके साथ उनके परिजनों पर भी नजर रखी जा रही है.