दो घंटों में लगेगा ‘ओमिक्रॉन’ का पता

नई दिल्ली. देश में कोरोना के नए वेरिएंट ओमिक्रॉन के बढ़ते मामलों के बीच इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (आईसीएमआर) ने एक टेस्टिंग किट तैयार की है जो कुछ ही घंटों में कोरोना वायरस के ओमिक्रॉन वेरिएंट का पता लगा सकती है. टेस्टिंग किट की मदद से ये आसानी से पता लगाया जा सकेगा कि कोई व्यक्ति ओमिक्रोन वेरिएंट से संक्रमित है या नहीं. साइंटिस्ट डॉ.विश्वज्योति बोरकाकोटी के नेतृत्व में पूर्वोत्तर क्षेत्र के लिए रीजनल मेडिकल रिसर्च सेंटर के साइंटिस्ट्स की एक टीम ने टेस्टिंग किट को बनाया है. यह टेस्टिंग किट एक सैंपल से दो घंटे में ओमिक्रॉन वेरिएंट का पता लगा सकती है. डॉ बोरकाकोटी ने शनिवार को कहा, ‘डिब्रूगढ़ के आईसीएमआर-आरएमआरसी ने नए ओमिक्रॉन वेरिएंट (बी.1.1.529) सार्स-सीडब्ल्युवी-2 का पता लगाने के लिए हाइड्रोलिसिस जांच-आधारित रीयल-टाइम आरटीपीसीआर को डिजाइन किया है, जो नए वेरिएंट का 2 घंटे के अंदर-अंदर आसानी से पता लगा सकती है.

टेस्टिंग किट 100 प्रतिशत सटीक
डॉ.विश्वज्योति ने कहा, ‘यह टेस्टिंग किट बहुत जरूरी है क्योंकि अभी तक सिक्वेंसिंग के लिए कम से कम 36 घंटे और पूरे जीनोम सिक्वेंसिंग के लिए 4-5 दिनों की जरूरत होती है.’ एएनआई के मुताबिक, कोलकाता की एक कंपनी जीसीसी बायोटेक, पब्लिक-प्राइवेट पार्टनरशिप मॉडल पर किट का निर्माण कर रही है. यह टेस्टिंग किट 100 प्रतिशत सटीक हैं.’

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