नागपुर। सामाजिक न्याय विभाग ने प्रक्रियाओं में पारदर्शिता लाने के लिए ब्लॉकचेन तकनीक का उपयोग करके दुनिया के सामने आने वाले कार्बन उत्सर्जन को नियंत्रित करने की पहल की है. देश में पहली बार इतना ऐतिहासिक सामंजस्य करार हुआ है. ‘महाप्रीत’ सामाजिक न्याय विभाग के तहत स्थापित राज्य सरकार की कंपनी के माध्यम से यह समझौता किया गया है. इससे किसानों को कार्बन क्रेडिट और अनुसूचित जाति के 10 लाख लोगों को धुआं रहित चूल्हा वितरित किया जाएगा.
सामाजिक न्याय विभाग की महाप्रीत के माध्यम से राज्य में अनुसूचित जाति के लाभार्थियों के लिए व्यापक उपक्रम चलाए जा रहे है. इसमे रोजगार निर्मिति, आधुनिक प्रशिक्षण, स्वास्थ्य की देखभाल, आर्थिक संपन्नता एवं समग्र मुख्य श्रृंखला निर्माण कर अन्य विभागों के लिए एक मॉडल होगा.
इस अवसर पर सामाजिक न्याय विभाग के सचिव सुमंत भांगे, महाप्रीत कंपनी के अध्यक्ष तथा व्यवस्थापकीय संचालक बिपिन श्रीमाली, कार्यकारी संचालक जितेंद्र देवकाते, इमरटेक सोल्युशन के गौरव सोमवंशी, हिंदुस्थान ऍग्रो को अॉपरेटिव के डॉ.भारत ढोकणे पाटील तथा जोएल मायकल इंग्लैंड से ऑनलाईन उपस्थित थे.
अनुसूचित जाति के लिए नई योजनाएं कार्यन्वित
सामाजिक न्याय विभाग के सचिव सुमित भांगे ने कहा कि ‘महाप्रीत कंपनी के माध्यम से अनुसूचित जाति वर्ग के लाभार्थियों के लिए नवीन गतिविधियांक्रियान्वित की जा रही हैं. आने वाले समय में राज्य के 10 लाख लाभार्थियों को निःशुल्क पर्यावरण अनुकूल धुआंरहित चूल्हा का वितरण किया जाएगा.
Sunday, November 24, 2024
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