डॉ.हरिभाऊ आदमने महाविद्यालय कार्यकारी प्राचार्य को स्थगन

 

सावनेर।

सर्व विदीत है की राष्ट्र विकास शिक्षण संस्था खापा व्दारा संचालीत डॉ. हरिभाऊ आदमने कला वाणिज्य महाविद्यालय सावनेर के प्राचार्य विरेंद्र जुमडे व्दारा गत माह हुये नाबालीकासे छेडछाड तथा प्राध्यापक एंव कर्मचारीयोके चड्डीडाँन्स प्रकरण के कारण शिक्षा जगतमे चर्चाका विषय बना था। ऐसे में अपने संस्था व महाविद्यालय की साख बचाने हेतू संचालक मंडल व्दारा प्राचार्य विरेन्द्र जुमडे को उनके पदसे निलंबित कर आननफाननमे उनकी जगह चड्डीडाँन्स मे लिप्त प्राध्यापक डॉ. प्रशांत पाटील को साल 2021-22 इस शैक्षणिक सत्र हेतू कार्यकारी प्राचार्य बनाये जानेकी अनुमती प्राप्ती हेतू राष्ट्र संत तुकडोजी महाराज विद्यापीठ नागपुर को संचालक मंडल व्दारा पत्र प्रेषित कर अनुमतीकी मांग की गयी थी। छात्र छात्राओको असुविधा ना है इस वास्ते विद्यापीठ व्दारा मान्यता भी प्रदान की। ज्ञात हो की 4 अगस्त 2021 को नागपुर डॉ. प्रशांत पाटील को डॉ. हरिभाऊ आदमने कला वाणिज्य महाविद्यालय का कार्यकारी प्राचार्य बनाये जानेकी मान्यता प्राप्ती हेतू राष्ट्र विकास शिक्षण संस्थाके संचालकोने राष्ट्र संत तुकडोजी महाराज विद्यापीठ नागपुर निवेदन कीया तथा प्रस्तुत निवेदन के साथ महाविद्यालयातमे कार्यरत जेष्ठ सेवाश्रेष्ठता क्रममे अग्रीन नाम डॉ.प्रशांत पाटील का लीखा होनेसे नागपुर विद्यापीठ व्दारा उन्हे कार्यकारी प्राचार्यकी मान्यता प्रदान की। किंतू उक्त प्राचार्य पद की नियुक्तीमे महाविद्यालयमे कार्यरत वरिष्ठ प्राध्यापकोको नजरअंदाज कीये जानेकी शिकायत नागपुर विद्यापीठको प्राप्त होते ही शिकायतके अनुसार स्थाई अधिवक्ता के सुझावानुसार संस्था संचालको व्दारा विद्यापीठ मे प्रस्तुत सेवाजेष्ठता सुची वरिष्ठताके आधार पर न बनाते हुये संस्था संचालकोने अपने मनमर्जीसे बनाकार भेजे जानेकी बात उजागर हुयी। जिसके चलते नागपुर विद्यापीठ व्दारा संस्था व्दारा प्रेषित सेवाजेष्ठता सुची सरकारी दिशानिर्देशोनुसार दुरुस्त कर नयी सुची बनाकर मगवाये जानेका पत्र महाविद्यालयमे आ धडकनेसे एक ओर संस्था संचालकोके मनसुबोपर पाणी फीर गया वही उक्त पत्र आनेसे संस्था संचालकोके कार्यप्रणाली पर भी प्रश्नचिन्ह निर्माण होकर खलबली का वातावरण बना हुआँ है.तो वही नागपूर विद्यापीठ पत्र क्र.म.वि.वि./3628, 9 अगस्त नुसार कार्यकारी प्राचार्य डॉ.प्रशांत पाटील को मान्यता दीये गये कार्यकारी प्राचार्य पदपर नियुक्ती को स्थगन दीये जाने की बात कही। तो वही राष्ट्र विकास शिक्षण संस्था व्दारा संचालीत डॉ. हरिभाऊ आदमने कला वाणीज्य महाविद्यालय पहलेही उनके प्राचार्य विरेंद्र जुमडे व्दारा नाबालीकासे छेडछाड और चड्डीडाँन्स का दंश झेल रहे व्यवस्थापन व्दारा नागपुर विद्यापीठ की दीशाभुल तथा गुमराह करणेवाली सेवाजेष्ठता सुची से छेडछाड के आरोपोमे घीरती नजर आ रही है।

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