चंद्रमा पर सूरज ढल चुका है। इसके साथ ही चंद्रयान 3 के रोवर और लैंडर के फिर से जागने की उम्मीदें भी धुंधली पड़ती नजर आ रही हैं। चांद पर रात होने के बाद शिवशक्ति प्वॉइंट फिर से अंधेरे में डूब गया है। यही वह जगह है, जहां पर चंद्रयान 3 ने लैंड किया था।
गौरतलब है कि चंद्रमा पर रात धरती के 14 दिनों के बराबर होती है। शिवशक्ति प्वॉइंट पर 30 सितंबर से ही सूरज की रोशनी कम होने लगी थी। तभी इस बात का आशंका उठने लगी थी कि क्या प्रज्ञान और विक्रम फिर से जाग सकेंगे? स्लीप मोड में डाल दिया गया था
बता दें कि चंद्रयान 3 के लैंडर और रोवर, प्रज्ञान व विक्रम को मिशन कंप्लीट होने के बाद स्लीप मोड में डाल दिया गया था। उस वक्त चंद्रमा पर रात होने वाली थी और वहां पर रातें काफी ठंडी होती हैं। उम्मीद थी कि जब 14 दिनों का चक्र पूरा होने के बाद फिर से सूरज निकलेगा तो प्रज्ञान और विक्रम को फिर से ऐक्टिवेट किया जाएगा। यूरोपियन स्टेशन कोरू और इस्टार्क के साथ बेंगलुरु से भी इस दिशा में लगातार प्रयास किए गए, लेकिन कोई परिणाम नहीं निकला। बता दें कि 23 अगस्त को चंद्रयान 3 ने चांद के दक्षिणी ध्रुव पर लैंडिंग की थी। इसके बाद भारत ऐसा करने वाला दुनिया का पहला देश बन गया था।
Sunday, November 24, 2024
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