हिंगना।
हाल ही में सोलापूर जिला बिजापूर पोलिस थाने में लॉकअप के अंदर भिमाश्या काले की मृत्यू हुई I वे पारधी समाज के थे। ईसमामले की सीआयडी जांच कर दोषी पुलिस कर्मी पर भादवी कलम 302 (34) के तहत मामला दर्ज किया जाए इस मांग को लेकर हिंगना के तहसिलदार संतोष खांडरे को राष्ट्रीय आदिवासी पारधीविकास परिषद के पदाधिकारीयों की ओर से ज्ञापन सौपा। सोलापुर जिले के बीजापुर थाना अंतर्गत पारधी बेडे के निवासी भीमाश्या काले को बीजापुर पुलिस ने एक मामले के तहत गिरफ्तार किया था। थाने के लॉकअप में भीमाश्या की मौत हो गई। इस मामले की जांच सीआईडी के जरिए होनी चाहिए। दोषी पुलिस कर्मियों पर हत्या का मामला दर्ज किया जाना चाहिए। और भीमाश्या की मौत ने उनके परिवार की रोजी-रोटी पर सवाल खड़ा कर दिया है। उसके परिवार के सदस्यों को 50 लाख रुपये की आर्थिक सहायता दी जानी चाहिए। परिवार के एक सदस्य को उसकी योग्यता के अनुसार सरकारी नौकरी दी जानी चाहिए। उनके परिवार की उपजीविका के लिए 4 एकड़ खेती की मांग भी राष्ट्रीय आदिवासी पारधीविकास परिषद कि ओर से कि गई है। साथ ही बीड जिले में पारधी बेडेपर जाकर गुंडों ने पारधी बेडे में आग लगादी और महिला को प्रताड़ित किया। इस हिंसा में एक बच्चे की हत्या कर दी गई। इस सारे मामले में गांव के सरपंच और गुंडो पर ऍट्रसिटी और हत्या का मामला दर्ज किया जाए, राष्ट्रीय आदिवासी पारधी विकास परिषद के अध्यक्ष बबन गोरामन व पदाधिकारी सोनु गोरामन, शिवप्रसाद माहुरे, रंजीत भोसले, राहुल राजपूत, दिलेन्द्र पवार,शिता माहुरे, शंकर पवार, बलीराम आलाम ने ज्ञापन दिया